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ha hasir ji bajat e kuch milta hi nahi
क्या करे आदत हो चुकी है
kyonki asha nirasha men badal jati hai ....
अपन तो कल ब्लाग ही नहीं लिख पाए।
Mooh nahi latkega to aur kya hoga???
इस बार तो अपना भी लटक गया ।
Zabadast ..... sahi swal kiya hai...
क्या बात करते है मिडिल क्लास की तो अब साल भर यही हालत होती है कुछ सालो बाद तो उसकी शकल ही ऐसी हो जाएगी |
ही ही ही ...
अरे भिखारी जी अब थोडे दिनो मै हम जेसे मिडिल कलास भी आप के संग ही आने वाले हे, अगर यह सरकार ओर रह गई तो
सच कहा अंशु जी,ने...कुछ दिनों बाद शक्ल ही ऐसी हो जाएगी..मिडिल क्लास वालों की.
वित्तमँत्री जी का सालाना ॐ जय जगदीश हरे सुनना कितना कष्टप्रद होता है, जैसे कि कोई डॉक्टर कहे मैं माँ या बच्चे में से किसी एक को बचा सकता हूँ, फिर ?
अपना भविष्य आज देख कर चिंतित हो रहा है बेचारा मध्यम वर्गिय.:)रामराम
पिक्चर अभी बाकी है दोस्त..
स्वाभाविक सवाल का शानदार कार्टून!
हा-हा.. जबाब ; क्योंकि तुम्हारी तरह उस दिन हमें भी अपने कटोरे की तरफ देखना पड़ता है !
नाईस सर जी।
प्रिय बंधुवर काजल कुमार जी सादर सस्नेहाभिवादन ! मिडिल-क्लास की यही तो दिक़्क़त है … :) वैसे मुंह लटकाना साल भर ही है … इस दिन नई शुरुआत करनी होती है … आपके बनाए कार्टून हमेशा ही मज़ेदार होने क साथ आमजन की बात को अभिव्यक्ति प्रदान करते हैं… बधाई और आभार ! ♥ महाशिवरात्रि की हार्दिक बधाई और शुभकामनाएं ! ♥ - राजेन्द्र स्वर्णकार
वाह..क्या खूब ...
bahut badhiyaa ...
bajat fail hone par surat aur kya hogi ?sundar
नमस्कार काजलजी,आपके ये कार्टून आम जनता की भावनाओं को उजागर करते हैं...अब क्या करें सूरत लटक ही जाती है .. बहुत खूब...
माफ कीजियेगा २८ फरवरी के सदमें से बाहर आते आते देर हुई कमेन्ट करने में :)
hmmm mazedaar
सही है हा...हा.... हा
वाहवाह.....बहुत बढ़िया काजल भाई...आपकी-हमारी दृष्टि एक सी है....साधुवाद स्वीकारें
झुनझुना आखिर कितना बजाया जाए!
ha ha
जवाब देंहटाएंsir ji bajat e kuch milta hi nahi
क्या करे आदत हो चुकी है
जवाब देंहटाएंkyonki asha nirasha men badal jati hai ....
जवाब देंहटाएंअपन तो कल ब्लाग ही नहीं लिख पाए।
जवाब देंहटाएंMooh nahi latkega to aur kya hoga???
जवाब देंहटाएंइस बार तो अपना भी लटक गया ।
जवाब देंहटाएंZabadast ..... sahi swal kiya hai...
जवाब देंहटाएंक्या बात करते है मिडिल क्लास की तो अब साल भर यही हालत होती है कुछ सालो बाद तो उसकी शकल ही ऐसी हो जाएगी |
जवाब देंहटाएंही ही ही ...
जवाब देंहटाएंअरे भिखारी जी अब थोडे दिनो मै हम जेसे मिडिल कलास भी आप के संग ही आने वाले हे, अगर यह सरकार ओर रह गई तो
जवाब देंहटाएंसच कहा अंशु जी,ने...कुछ दिनों बाद शक्ल ही ऐसी हो जाएगी..मिडिल क्लास वालों की.
जवाब देंहटाएंवित्तमँत्री जी का सालाना ॐ जय जगदीश हरे सुनना कितना कष्टप्रद होता है, जैसे कि कोई डॉक्टर कहे मैं माँ या बच्चे में से किसी एक को बचा सकता हूँ, फिर ?
जवाब देंहटाएंअपना भविष्य आज देख कर चिंतित हो रहा है बेचारा मध्यम वर्गिय.:)
जवाब देंहटाएंरामराम
पिक्चर अभी बाकी है दोस्त..
जवाब देंहटाएंस्वाभाविक सवाल का शानदार कार्टून!
जवाब देंहटाएंहा-हा.. जबाब ; क्योंकि तुम्हारी तरह उस दिन हमें भी अपने कटोरे की तरफ देखना पड़ता है !
जवाब देंहटाएंनाईस सर जी।
जवाब देंहटाएंप्रिय बंधुवर काजल कुमार जी
जवाब देंहटाएंसादर सस्नेहाभिवादन !
मिडिल-क्लास की यही तो दिक़्क़त है …
:) वैसे मुंह लटकाना साल भर ही है … इस दिन नई शुरुआत करनी होती है …
आपके बनाए कार्टून हमेशा ही मज़ेदार होने क साथ आमजन की बात को अभिव्यक्ति प्रदान करते हैं… बधाई और आभार !
♥ महाशिवरात्रि की हार्दिक बधाई और शुभकामनाएं ! ♥
- राजेन्द्र स्वर्णकार
वाह..क्या खूब ...
जवाब देंहटाएंbahut badhiyaa ...
जवाब देंहटाएंbajat fail hone par surat aur kya hogi ?sundar
जवाब देंहटाएंनमस्कार काजलजी,
जवाब देंहटाएंआपके ये कार्टून आम जनता की भावनाओं को उजागर करते हैं...अब क्या करें सूरत लटक ही जाती है .. बहुत खूब...
माफ कीजियेगा २८ फरवरी के सदमें से बाहर आते आते देर हुई कमेन्ट करने में :)
जवाब देंहटाएंhmmm mazedaar
जवाब देंहटाएंसही है हा...हा.... हा
जवाब देंहटाएंवाहवाह.....बहुत बढ़िया काजल भाई...आपकी-हमारी दृष्टि एक सी है....साधुवाद स्वीकारें
जवाब देंहटाएंझुनझुना आखिर कितना बजाया जाए!
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