आपकी इस प्रविष्टि् के लिंक की चर्चा कल सोमवार (04-05-2015) को "बेटियों को सुशिक्षित करो" (चर्चा अंक-1965) पर भी होगी। -- सूचना देने का उद्देश्य है कि यदि किसी रचनाकार की प्रविष्टि का लिंक किसी स्थान पर लगाया जाये तो उसकी सूचना देना व्यवस्थापक का नैतिक कर्तव्य होता है। -- हार्दिक शुभकामनाओं के साथ। सादर...! डॉ.रूपचन्द्र शास्त्री 'मयंक ---------------
हाँ, घोड़े की महक तो आती नहीं?
जवाब देंहटाएंइसी कला से तो टोपी सफ़ेद रहती है. एक गाना है --- जिन्दा हूँ मैं... तो यह बताना पड़ता है. अब बिना बात के तो टीवी वाले पूछते नहीं.
जवाब देंहटाएंटोपी वालों का जवाब कहाँ मिलता है! खुदेड़ सवाल जो कर बैठते हैं ....
जवाब देंहटाएंआपकी इस प्रविष्टि् के लिंक की चर्चा कल सोमवार (04-05-2015) को "बेटियों को सुशिक्षित करो" (चर्चा अंक-1965) पर भी होगी।
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सूचना देने का उद्देश्य है कि यदि किसी रचनाकार की प्रविष्टि का लिंक किसी स्थान पर लगाया जाये तो उसकी सूचना देना व्यवस्थापक का नैतिक कर्तव्य होता है।
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हार्दिक शुभकामनाओं के साथ।
सादर...!
डॉ.रूपचन्द्र शास्त्री 'मयंक
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हर जगह अपनी पसंद ढूँढते हैं - निराश हैं बेचारे !
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